Saturday, 8 December 2012

हाइकु

हाइकु
नभ में तारे
टिमटिम करते
धरा निहारे

भाग्य सितारा
चमक उठे जब
हमें सवारे

नभ में तारे
टिमटिम करते
धरा निहारे

=========

तारों से सजी
रजनी की चूनर
है मनोहर
प्रमिला आर्य
==================
विदा करना
बेटी को ,है ना आसां

दिल है  रोता



यही  है  प्रथा
माता पिता की व्यथा

सच सुशीला
दुःख सुख में साथ
बेटी रहती
पराई नहीं
बेटी कभी होती है
करती प्यार


 

No comments:

Post a Comment